दोस्तों मैंने आपको सुनाया था कि एक गैंगस्टर की पत्नी किस तरह जीस्म के धंधे करने लगीं थी।और वह क्या से क्या हो गई अब मैं उसी की बेटी की कहानी सुनाने जा रहा हूँ। यह कहानी ध्यान से पढ़ें क्योंकि यह सत्य घटना हैं, इसके अतिरिक्त यह जानने के लिए कि किस तरह एक मां एक मासूम बेटी को पैसे के लालच में धकेल देती हैं।
दोस्तों जब वह पाँच वर्ष की थी तो उसके पिता के छाया उस पर से उठ गया। जब वह पाँच साल की थी तभी किसी ने उसके पिता की हत्या कर दी। उसके घर सभी छोटे-छोटे थे, जो उसके भाई था वह भी छोटे थे। घर में पिता के न रहने से उसकी माँ को घर चलाने में कठिनाई होने लगी क्योंकि उनके पास पैसे का अभाव हो गया था। न उसके घर में दादा भी थे घर को चलाए। धिरे-धिरे किसी भी तरह रिश्तेदारों के दिए हुए पैसों से घर चलाने लगी। उसके पति ने भी जो कुछ पैसे दिए थे उससे घर चलाती थीं। इस तरह से वह अपने बच्चों को भरण-पोषण करती थी। लेकिन मुसीबत में ही होते हैं अपने और पराये की पहचान। उसके रिश्तेदारों ने पैसा देने बंद कर दिए। उसके पति के जो जमा पूँजी थीं वह भी खत्म हो गया।
जब रिश्तेदारों ने पैसा देने बंद कर दिए और उसके पति के द्वारा जमा पूँजी भी खत्म हो गया तो वह काम के तलाश में विचरण करने लगी। लेकिन उससे कोई भारी काम नहीं हो रहा था इसलिए वह निराश रहती थी। एक दिन वह गलत आदमी के हाथ लग गई और पैसों के लालच दे उससे जिस्म के धंधे करने को कहा, आर्थिक स्थिति खराब होने कारण पैसों के लालच मे आकर वह राजी हो गई।उसके बाद से वह उसी धंधे में लग गई और इसी तरह अपने परिवार को चलाने लगी।
दस वर्ष बाद जब उसकी बेटी पंद्रह वर्ष की हुई तो वह जिस पुरुष के साथ रहती थीं। उसे उसकी बेटी के जवानी देख रहा न गया। उसने उस लड़की के कौमार्यपन भंग करने को उसकी माँ को पचास हजार रुपये दिए और अपनी बेटी जैसी लड़की के साथ संभोग किया और उस लड़की के कौमार्यपन नष्ट कर दिया। उसके बाद से वह लड़की भी अपने के रास्तों पर चलने लगी और वह भी जीस्म के धंधे करने लगीं।
जब वह अपने पिता के समान आदमी के साथ सेक्स की तो उसे; उसकी माँ के कृपा से अस्पताल तक जाना पड़ा।
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